आजादी का जश्न
मनाने की घड़ी है
उत्सव में सराबोर होने से
स्वतंत्रता सेनानियों को याद
करने मात्र से ही
नहीं संवरेगा अपना देश
आज
समय की मांग है
देश का हर नागरिक
अपने अधिकारों के साथ-साथ
अपने कर्तव्यों को जाने और समझे
तभी हो सकेगी समुचित भागीदारी
देश के प्रति
और
फ़िर होगा.....
विकासशील भारत
विकसित भारत..........।